जग बिसराई आठों पहरियाँ तोहरे ही गुण गाये .....
जहां जाएँ मोरी नज़रियाँ तोहे हर्षु ही पाए ....
ऐसी बवारियाँ हुई मैं सवारियां ...
सात जनम तक हम तो बने रहेंगे तोहरे ही साए ...
मन मोहे हैं तेरी अँखियाँ तेरी हंसी आज भी हमे रिझाए ..
सुनी लागे तुझ बिन दुनिया ....हम खुद को कितना अकेला हैं पाए .....
सुर विहीन हो गयी धड़कन ..खंडित हो गया हमरा मन ....
अश्रुओं से भर आयी अंखियाँ......तोहरी बतिया जब जब याद आये !!
चीख चीख कर टूटे सपने युगल सुरों में दर्द का साज़ सजाये
दर्पण टूटा तू जो रूठा फिर भी हम तोहरी यादों को हैं दिल में समाये
वक़्त थम जाए पल टेहर जाए ..अश्रुओं से भर आयी अंखियाँ
तोहरी बतियाँ जब जब याद आये !!!
तोहरी बतियाँ जब जब याद आये !!!
काली रतियाँ आठों पहरियाँ नागिन सी डस जाए ...
बहती नदियों की लहरें पथरों से जब टकराए ...हमरे जीवन की नैयां... इस उफ़ान में भला पार कौन लगाए ?....
जर्द पन्नो से गुलाब की पंखुरियां उड़ उड़ सी जाए ....
चाँद की मद्धम चंदनियां भी मोहे अंग जलाये ......
अश्रुओं से भर आयी अंखियाँ
तोहरी बतियाँ जब जब याद आये !!!
kiski yaaden tujhe itna satane lagi re........ ye tere dil ka dard hai ya imagination... mujhe blve nhi ho raha.... so cute
जवाब देंहटाएंThanx :)
जवाब देंहटाएंMAME TELL ME HOW U CAN WRITE....I CAN'T BELIVE IT
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